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Publication date 6 सित. 2025

दोनों बेटों ने पिता की ख़ुदी से मोहब्बत नहीं की – टिम केलर

Publication date 6 सित. 2025

आज मैं आपके साथ एक मेरी बहुत ही ख़ास कहानी साझा करना चाहती हूँ। इसकी बुनियाद कल के ही चमत्कार के प्रोस्ताहन पर है। अगर आपने नहीं पढ़ा है, तो मैं आपको गुज़ारिश करती हूँ कि आगे बढ़ने से पहले हमारी वेबसाइट पर जाएँ और उसे पढ़ें।

हमारे बेटे ज़ैक का इस साल मार्च में देहांत हो गया। जब वह २०२० में पैदा हुआ था, तो वह पूरी तरह से स्वस्थ और ज़िंदगी से भरपूर था — एक नन्हा फूल जिसकी ख़ुशबू से घर महकता था। लेकिन जब वह मात्र १० महीने का था, तब एक गंभीर वायरल संक्रमण ने उसकी नन्ही सी जान पर दस्तक दी। हमें उसे तुरंत अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा। ज़ैक को तुरंत आय.सी.यू में शिफ्ट किया गया, जहाँ उसने ६४ दिन तक हिम्मत और जज़्बे के साथ बीमारी से लड़ाई लड़ी।

पहले कुछ दिन बेहद दर्दनाक और भारी थे, क्योंकि ज़ैक बेहोश था और उसके होश में आने तक हमें यह अंदाज़ा भी नहीं था कि उसकी हालत कितनी गंभीर थी।

मुझे आज भी वो दिन साफ़ साफ़ याद है जब मैं अस्पताल की ग़लियों से गुज़र रही थी, मेरे कानों में हेडफोन लगे हुए थे और ख़ुदा के इबादत के गीत सुन रही थी।

तभी एक अंग्रेजी गीत “नथिंग एल्स” आया और इन पंक्तियों को सुनते ही मैं टूट कर रो पड़ी:

"मुझे बरक़तों की ख़्वाहिश नहीं हैं यीशु मसीह, तू मेरा कर्ज़दार नहीं हैं मेरी सारी ज़रूरतों को तू बेशक़ पूरा कर सकता हैं , लेकिन उससे भी ज़्यादा, मुझे सिर्फ़ तू चाहिए।" 

मेरे अंदर से एक दहाड़ सी उठी, जैसे चिल्ला रही थी, “मुझे तुझसे एक तंदुरुस्त बच्चा चाहिए! अगर तू ज़ैक को शिफ़ा नहीं देगा, तो मेरा तुझसे कोई वास्ता नहीं!”

यह एक बेदर्दी से सच्चाई का लम्हा था लेकिन शायद एक ‘बड़े भाई’ ‘ वाला पल भी था। मेरे दिल का एक हिस्सा यह महसूस कर रहा था कि मैंने कई सालों तक एक सेवकाई की ज़िंदगी जी है और ख़ुदा के राज्य के लिए बहुत कुछ त्यागा है और इसीलिए ख़ुदा उस शिफ़ा का क़र्ज़दार है।

मैं उस बड़े भाई की तरह थी, जो अपने पिता से कहता है, “देखो! कई बरसों से मैं आपकी ख़िदमत कर रहा हूँ और कभी भी आपका हुक्म नहीं टाला हैं।” (लूका १५:२९)मेरी यीशु मसीह के लिए चाहत महज़ अपने बेटे की शिफ़ा तक़ ही सीमीत थी - मेरी आरज़ू, वह जो मेरे लिए है, इस पर नहीं बल्क़ि वह मेरे लिए क्या कर सकता है, इस खोकली बुनियाद पर खड़ी थी। 

मेरी इस कड़वी पुकार ने मुझे हैरान कर दिया, लेकिन उससे भी ज़्यादा मेरे दिल की हालत ने। मेरी रूहानी ज़िंदगी में जो ख़ुद की धार्मिकता का घमंड धीरे-धीरे घर कर गया था, वह उस पल बेहद साफ़ हो गया।

मैंने यह दुआ की, और अगर आप चाहें, तो आप भी यह दुआ कर सकते हैं:

ऐ ख़ुदावंद, मुझे माफ़ कर कि मैंने तुझसे मोहब्बत महज़ अपने मतलब और ज़रूरतों के लिए की। अब मुझे मदद कर कि मैं तुझसे तेरी ख़ुदी के लिए मोहब्बत करूं — ना कि उन चीज़ों के लिए जो तू मेरे लिए कर सकता है।

आप एक चमत्कार हैं।

Jenny Mendes
Author

Purpose-driven voice, creator and storyteller with a passion for discipleship and a deep love for Jesus and India.